उत्तर प्रदेश में बाढ़ के बिगड़ते हालात को देखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राहत और बचाव कार्यों में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने बाढ़ प्रभावित 18 जिलों के लिए ‘टीम-11’ का गठन किया है और सभी मंत्रियों को जमीनी स्तर पर जाकर स्थिति का जायजा लेने के लिए कहा है।
सीएम योगी के सख्त निर्देश
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि जान-माल की सुरक्षा उनकी सर्वोच्च प्राथमिकता है। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि राहत कार्यों में कोई ढिलाई नहीं होनी चाहिए। उन्होंने सभी जिलों को अलर्ट मोड में रहने और बाढ़ प्रभावित इलाकों में ही रात बिताने का निर्देश दिया। मुख्यमंत्री ने यह भी सुनिश्चित करने को कहा कि प्रभावित लोगों को यह महसूस हो कि सरकार उनके साथ खड़ी है।
बाढ़ प्रभावित जिले और राहत कार्य
प्रदेश के 18 जिले बाढ़ की चपेट में हैं, जिनमें प्रयागराज, बलिया, कानपुर देहात, आगरा, जालौन, मिर्जापुर, वाराणसी, हमीरपुर, बांदा, औरैया, इटावा और फतेहपुर शामिल हैं।
जिलेवार किए गए कुछ महत्वपूर्ण कार्य:
- प्रयागराज: 19 नावें, 88 बाढ़ चौकियां और SDRF व NDRF की टीमें तैनात की गईं। 1,375 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुँचाया गया।
- जालौन: 62 नावें, 31 मोटर बोट और 27 बाढ़ चौकियां बनाई गईं।
- हमीरपुर: 17 बाढ़ चौकियां स्थापित की गईं और 1,330 लोगों का बचाव किया गया।
राहत कार्यों की समग्र स्थिति:
- बाढ़ शरणालय: 905 शरणालयों में 11,248 लोग रह रहे हैं।
- राहत सामग्री: अब तक 76,632 लंच पैकेट और 6,536 खाद्यान्न पैकेट बांटे गए हैं। 1.29 लाख क्लोरीन टैबलेट और 37,089 ORS पैकेट भी वितरित किए गए हैं।
- बचाव टीम: 1,193 बाढ़ चौकियां और 757 मेडिकल टीमें सक्रिय हैं। 493 नावें बचाव कार्य में लगी हैं, जबकि 4,596 नावों को आपात स्थिति के लिए तैयार रखा गया है।
मंत्रियों के दौरे
सीएम योगी के निर्देश पर 11 मंत्री बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करेंगे:
- नंद गोपाल गुप्ता ‘नंदी’: प्रयागराज और मिर्जापुर
- स्वतंत्र देव सिंह: जालौन
- संजय गंगवार: औरैया
- रामकेश निषाद: हमीरपुर
- जयवीर सिंह: आगरा
- सुरेश खन्ना: वाराणसी
- संजय निषाद: कानपुर देहात
- धर्मवीर प्रजापति: इटावा
- अजीत पाल: फतेहपुर
- दयाशंकर सिंह: बलिया
सरकार ने अब तक 327 प्रभावित परिवारों को राहत सहायता भी प्रदान की है। मुख्यमंत्री का स्पष्ट संदेश है कि इस संकट की घड़ी में जनता को अकेला नहीं छोड़ा जाएगा।