अभिषेक परिहार
आगरा (पिनाहट)। केंद्र व प्रदेश सरकार गरीब, मध्यम व मजदूर वर्ग को ग्रामीण क्षेत्रों में निशुल्क शिक्षा उपलब्ध कराने के लिए भरपूर प्रयासरत है। और ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा व्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए शिक्षा व्यवस्था के गिरे हुए स्तर को उठाने के लिए करोड़ों रुपए पानी की तरह बहा रही है। लेकिन शिक्षा विभाग के अधिकारी ही प्रदेश सरकार के सर्व शिक्षा अभियान को पलीता लगाते नजर आ रहे हैं। स्कूल परिसर की बाउंड्री वॉल चारों तरफ से टूटी हुई पड़ी है।
स्कूल का मुख्य गेट टूटने के चलते आवारा गोवंशो ने स्कूल परिसर को अपना बसेरा बना लिया है। जिसके चलते स्कूल परिसर के अंदर चारों तरफ गंदगी के अंबार लगे हुए हैं। स्कूल परिसर में बने शौचालय में महीनों से सफाई न होने के चलते चौक पड़े हुए हैं। जिससे स्कूल आने वाले बच्चों को संक्रामक रोग फैलने का खतरा बढ़ गया है।
शिक्षा विभाग के अधिकारी शिकायत के बाद भी अधिकारी इन गांवों का निरीक्षण नहीं करते हैं। और न ही ऐसे लापरवाह शिक्षकों के खिलाफ कोई कार्रवाई होती है।जिसके चलते ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा का स्तर गिरता जा रहा है। और ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों का परिषदीय विद्यालयों की शिक्षा व्यवस्था से भरोसा उठ गया है।
जी हां हम बात कर रहे हैं पिनाहट ब्लॉक क्षेत्र के गांव टीकत पुरा की।प्राथमिक विद्यालय टीकत पुरा की चारों तरफ से बाउंड्री वॉल टूटी पड़ी है। बाउंड्री वॉल टूटने के साथ-साथ स्कूल का मुख्य गेट है भी टूटा पड़ा है। स्कूली बच्चों के खेलने कूदने की जो भी सामग्री है वह भी क्षतिग्रस्त अवस्था में पड़ी हुई है।
मुख्य दरवाजा व बाउंड्री वाल टूटने के चलते आवारा गोवंशो ने स्कूल परिसर को अपना बसेरा बना लिया है। जिसके चलते उसमें गंदगी का अंबार लगा हुआ है, साथ ही शौचालय में महीनों से सफाई न होने के चलते शौचालय चौक पड़े हुए हैं। ग्रामीण रछपाल सिंह, अंकित सिंह,मान सिंह, श्यामवीर,रामनिवास, सुनील,छोटेलाल आदि ने बताया कि पिछले चार माह से स्कूल की बाउंड्री वाल, मुख्य गेट टूटा पड़ा है।
आवारा गोवंश पढ़ाई के टाइम पर स्कूल परिसर में घुस आते हैं। जिससे स्कूल परिसर में गंदगी का अंबार लगा हुआ है।अध्यापक भी कभी कबार स्कूल पढ़ाने आते हैं। स्कूली बच्चों के लिए आने वाला पुष्टाहार पशुओं में बांट दिया जाता है।शिकायत के बावजूद भी कोई भी कार्रवाई नहीं होती है।
वही प्रधानाचार्य राजीव कुमार की लापरवाही के चलते स्कूल तहस-नहस हो गया है। स्कूल का कोई रखरखाव नहीं है। बिल्डिंग भी जर्जर होने की कगार पर पहुंच चुकी है। ग्रामीणों ने स्कूल परिसर की बाउंड्री वाल सही कराने, मुख्य गेट लगवाने व स्कूल परिसर की साफ-सफाई की मांग करते हुए लापरवाह शिक्षा के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है
वही इस मामले में बीईओ पिनाहट अमरनाथ सिंह का कहना है मामला मेरे संज्ञान में नहीं था। मैं स्वयं निरीक्षण करूंगा। लापरवाही मिलने पर कड़ी कार्रवाई करूंगा। परिषदीय विद्यालयों की डेंटिंग पेंटिंग ग्राम पंचायत द्वारा कराई जाती है