आगरा: जिला पूर्ति अधिकारी ने एक बड़े रैकेट का पर्दाफाश किया है, जो आगरा में गरीबों के लिए भेजे गए सरकारी चावल को पंजाब और हरियाणा की मंडियों में बेच रहा था। इस कार्रवाई में चार लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
संयुक्त टीम की कार्रवाई
यह कार्रवाई थाना अछनेरा, एसओजी और सर्विलांस (पश्चिमी जोन) की एक संयुक्त टीम ने की। जिला पूर्ति अधिकारी को 12 सितंबर 2024 को सूचना मिली थी कि ग्राम रायभा, बुद्धा का नगला, तहसील किरावली में सरकारी चावल का अवैध भंडारण किया जा रहा है।
छापेमारी और बरामदगी
इस सूचना के बाद जिला पूर्ति अधिकारी के नेतृत्व में एक टीम ने मौके पर छापा मारा। छापे के दौरान एक ट्रेलर और लोडिंग टेम्पो में सरकारी चावल से भरी 559 बोरियां बरामद की गईं, जिनमें से 62 बोरियां सार्वजनिक वितरण प्रणाली के अंतर्गत बांटे जाने वाले चावल की थीं।
आरोपी का कबूलनामा
मुख्य अभियुक्त मनीष अग्रवाल और उसके साले सुमित अग्रवाल को 11 अक्टूबर 2024 को रायभा पुल के नीचे से गिरफ्तार किया गया। पूछताछ के दौरान अभियुक्तों ने स्वीकार किया कि वे सरकारी चावल को खरीदकर अन्य राज्यों में ऊंचे दामों पर बेचते थे। उनकी गिरफ्तारी के बाद अन्य अभियुक्त घनश्याम और जयकिशन को भी अछनेरा चौराहे से गिरफ्तार किया गया।
गैंगस्टर कार्यवाही
पुलिस आयुक्त जे रविंद्र गौड़ ने बताया कि इस गिरोह के नेटवर्क की गहन जांच जारी है और इनके खिलाफ गैंगस्टर एक्ट के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी। साथ ही, अवैध रूप से अर्जित संपत्ति को भी जब्त किया जाएगा।