वडोदरा। गुजरात के वडोदरा शहर स्थित एमएस यूनिवर्सिटी के आर्ट्स फैकल्टी के हिंदी विभाग के प्रोफेसर मोहम्मद अज़हरभाई ढेरीवाला के खिलाफ एक छात्रा ने गंभीर आरोप लगाए हैं। छात्रा ने प्रोफेसर पर उसे मानसिक रूप से परेशान करने, गंदे मैसेज भेजने और उसका पीछा करने का आरोप लगाया है। छात्रा की सहेली ने भी प्रोफेसर के खिलाफ शिकायत की है, क्योंकि वह उसे भी बार-बार परेशान कर रहा था। इस मामले के सामने आने के बाद यूनिवर्सिटी ने प्रोफेसर को सस्पेंड कर दिया और पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया है।
परेशान करने का आरोप
शिकायत में छात्रा ने बताया कि प्रोफेसर उसे मोबाइल पर गंदे मैसेज भेजता था और उसे बार-बार अलग कमरे में मिलने के लिए दबाव डालता था। जब छात्रा ने यह बात अपनी सहेली से साझा की, तो प्रोफेसर ने सहेली को भी परेशान करना शुरू कर दिया। उसे अपनी सहेली से मिलवाने के लिए बार-बार फोन करके दबाव डाला।
प्रोफेसर का यह व्यवहार छात्रा के लिए मानसिक और शारीरिक उत्पीड़न का कारण बन गया था। न केवल वह छात्रा को फोन करके परेशान करता था, बल्कि उसने छात्रा का घर तक पीछा किया और धमकी भी दी थी कि अगर उसने उसकी बात नहीं मानी, तो उसकी परीक्षा में मार्क्स घटा दिए जाएंगे।
यूनिवर्सिटी से शिकायत और सस्पेंशन
इस घटना के बाद, छात्रा ने विश्वविद्यालय प्रशासन से शिकायत की। इसके बाद प्रोफेसर को सस्पेंड कर दिया गया। बावजूद इसके, प्रोफेसर ने अपनी हरकतें नहीं छोड़ीं और वह फिर से छात्रा को फोन करके परेशान करने लगा। इसके बाद छात्रा ने पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज करवाई और मामला पुलिस के पास पहुंचा।
पुलिस ने प्रोफेसर को गिरफ्तार किया
सयाजीगंज पुलिस ने शिकायत के आधार पर मामला दर्ज किया और प्रोफेसर को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने प्रोफेसर और छात्रा के बीच व्हाट्सएप पर हुई बातचीत के मैसेज को रिकवर करना शुरू कर दिया है, ताकि इस मामले में और साक्ष्य जुटाए जा सकें। पुलिस का कहना है कि प्रोफेसर के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
समाज में गहरी चिंता
यह मामला वडोदरा और पूरे राज्य में चर्चा का विषय बन गया है। समाज के विभिन्न वर्गों ने इस घटना की कड़ी निंदा की है और शिक्षा संस्थानों में इस तरह की घटनाओं पर सख्त नजर रखने की आवश्यकता को महसूस किया है। विशेषज्ञों का कहना है कि यह मामला विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में छात्रों के प्रति शिक्षकों के आचार व्यवहार और सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल उठाता है।
न्याय की उम्मीद
इस घटना के बाद, छात्राओं और शिक्षण संस्थानों में सुरक्षा के मुद्दे पर गंभीर चर्चा शुरू हो गई है। समाज और प्रशासन से यह उम्मीद की जा रही है कि इस मामले में जल्दी से जल्दी न्याय मिलेगा और ऐसे कृत्यों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाएगी।