उत्तर प्रदेश पुलिस के पांच बड़े कारनामों ने खाकी को शर्मसार कर दिया है। कलक्टरगंज थानेदार 50 हजार घूस लेते हुए धरे गए तो काकादेव थानेदार की ड्रग्स तस्करों से साठगांठ में सस्पेंड हुए। वही एक कांस्टेबल रेप में फंसा। उसे अरेस्ट करके जेल भेज दिया गया। तो दो दरोगाओं के भी पीड़िताओं से अश्लील बातें और चैट वायरल होने के बाद उन्हें सस्पेंड कर दिया गया।
आइये आपको पढ़वाते हैं खाकी के दामन पर दाग लगाने वाले 5 बड़े मामले
कलक्टरगंज इंस्पेक्टर 50 हजार घूस लेने में गए जेल
कलक्टरगंज थाना प्रभारी रहे राम जनम गौतम को 16 अक्तूबर को एंटी करप्शन की टीम ने 50 हजार रुपए घूस लेते हुए अरेस्ट किया था। जांच में पता चला कि नारायणी प्लाजा कराचीखाना निवासी नरेंद्र कुमार गुप्ता के मकान को किराएदार खाली नहीं कर रहे थे। जब भी वह काम शुरू करते तो किराएदार लड़ाई-झगड़ा करके झूठी शिकायतें करते थे। नरेंद्र ने मामले में कलक्टरगंज थाना प्रभारी से मदद मांगी तो इंस्पेक्टर राम जनम गौतम ने 50 हजार की डिमांड कर दी। उन्होंने एंटी करप्शन को जानकारी दी। इसके बाद प्लानिंग के तहत 50 हजार घूस लेते हुए राम जनम गौतम को एंटी करप्शन टीम ने अरेस्ट कर लिया। इसके बाद कोर्ट में पेश करके अगले दिन जेल भेज दिया गया।
नवाबगंज थाना प्रभारी रोहित तिवारी ने 16 अक्तूबर को काकादेव से दो ड्रग्स (गांजा) तस्कर सौरभ और विनोद को अरेस्ट किया था। दोनों तस्करों को अरेस्ट करने के बाद काकादेव थाना प्रभारी विनय शर्मा को बेहद नागवार गुजरी। क्यों कि दोनों ड्रग्स तस्कर विनय शर्मा को महीना पहुंचाने के साथ ही बेहद नजदीकी थे। अरेस्टिंग होते ही उन्होंने नवाबगंज इंस्पेक्टर रोहित तिवारी को फोन किया। धमकाते हुए कहा कि जिन लड़कों को उठाया है, उतनी ही शराफत के साथ छोड़ दी, नहीं तो उनके परिजनों की तहरीर पर अपहरण की FIR दर्ज करके तुम्हें जेल भेज दूंगा।
इससे नवाबगंज और कोहना थानेदार के बीच कहासुनी हो गई। नवाबगंज थाना प्राभारी ने पूरे मामले की जानकारी DCP सेंट्रल प्रमोद कुमार और पुलिस कमिश्नर डॉ. आरके स्वर्णकार को दी। पुलिस ने जांच की तो सभी आरोप सही पाए गए। इसके बाद तत्काल प्रभाव से 19 अक्तूबर को काकादेव थाना प्रभारी विनय शर्मा को सस्पेंड कर दिया गया। इसके साथ ही तस्करी को मैनेज करने वाले उनके दो कार्यखास कांस्टेबल प्रदीप कुमार और विकास बघेल को भी सस्पेंड किया। कॉल डिटेल और व्हाट्सएप के चैट में आरोपी और काकादेव पुलिस के साठगांठ के साक्ष्य मिले हें।
रेप के मामले में कॉन्स्टेबल को जेल भेजा
मैनपुरी के करहल में रहने वाली एक युवती ने बताया कि करीब 3 साल पहले उनकी मुलाकात मोहम्मदाबाद फतेहगढ़ उत्तर प्रदेश निवासी हरेंद्र से हुई थी। हरेंद्र ने बताया था कि वह अभी अनमैरिड है। इसके बाद युवती को प्रेम प्रसंग में फंसाने के साथ ही शादी का झांसा दिया। फिर लगातार तीन साल तक यौन उत्पीड़न किया। शादी का दबाव बनाने पर हरेंद्र अपनी बात से मुकर गया। मारपीट भी की।
15 अगस्त को युवती ने कॉन्स्टेबल के खिलाफ मैनपुरी के करहल थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी। आरोप सही पाए जाने पर मामले में पुलिस ने चार्जशीट दाखिल करने के साथ ही 18 अक्तूबर को अरेस्ट करके जेल भेज दिया। कल्याणपुर थाना प्रभारी धनंजय पांडेय ने बताया कि कांस्टेबल हरेंद्र महीनों से गैरहाजिर रहा है। अब उसके अरेस्ट होने के बाद एक रिपोर्ट बनाकर पुलिस कमिश्नर को भेज दी गई है। इसी आधार पर उसे फौरन सस्पेंड कर दिया गया। साड थाने में तैनाती के दौरान दरोगा तेजवीर सिंह पर गंभीर आरोप लगे और जांच में पुष्टि होने पर सस्पेंड हुए थे।
पीड़िता को अकेले कमरे में बुलाने वाले दरोगा सस्पेंड
साढ़ थाने में तैनात दरोगा तेजवीर सिंह का 3 सितंबर को सोशल मीडिया पर एक ऑडियो वायरल हुआ था। इसमें वह एक शिकायत करने वाली पीड़िता से अश्लील बातें कर रहे थे। इतना ही नहीं उसके ऊपर अपने कमरे में आने के लिए दबाव डाल रहे थे।
महिला ने दरोगा तेजवीर के खिलाफ शिकायत करने के साथ ही कॉल रिकॉर्डिंग सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। जांच में सभी आरोप सही पाए गए। इसके बाद दरोगा को तत्काल प्रभाव से DCP साउथ ने सस्पेंड कर दिया था। इसके साथ ही उसके खिलाफ विभागीय जांच भी बैठाई थी।
चौकी इंचार्ज का पीड़िता से हुआ था अश्लील चैट वायरल
गोविंद नगर थाना क्षेत्र के रतनलाल नगर चौकी इंचार्ज शुभम का तीन महीने पहले एक व्हाट्सएप चैट वायरल हुआ था। थाने में एक पीड़िता अपने परिवारीजनों की रिपोर्ट दर्ज कराने पहुंची थी। दरोगा ने उसका नंबर हासिल कर दिया और उसे ही परेशान करने लगा। देर रात अपने कमरे में आने के लिए दबाव बना रहा था।
मामले की जानकारी मिलते ही तत्काल पुलिस कमिश्नर ने आरोपी चौकी इंचार्ज शुभम सिंह को सस्पेंड कर दिया। मामले में जिम्मेदार पुलिस अफसरों तक पहुंची, लेकिन उसे दबा दिया गया। चौकी इंचार्ज के खिलाफ कोई विधिक कार्रवाई नहीं की गई।