नई दिल्ली: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने शनिवार को एक बड़ा ऐलान करते हुए कहा कि देश में इस साल होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) को लागू कर दिया जाएगा। यह घोषणा भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के लोकसभा चुनाव अभियान को गति देने के लिए की गई है।
गृहमंत्री ने कहा:
- CAA किसी की नागरिकता नहीं छीनेगा: गृहमंत्री ने कहा कि CAA का उद्देश्य केवल धार्मिक उत्पीड़न का सामना कर रहे पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश के अल्पसंख्यक लोगों को नागरिकता देना है। उन्होंने कहा कि यह कानून किसी भी भारतीय नागरिक की नागरिकता छीनने का काम नहीं करेगा।
- कांग्रेस ने किया था वादा: गृहमंत्री ने कहा कि CAA को लागू करने का वादा मूल रूप से कांग्रेस ने ही किया था। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने 2019 के लोकसभा चुनाव में अपने घोषणापत्र में इस कानून को लागू करने का वादा किया था।
- विपक्ष पर आरोप: गृहमंत्री ने विपक्ष पर मुसलमानों को CAA को लेकर गुमराह करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि विपक्षी दल CAA को लेकर मुस्लिम भाइयों को भड़का रहे हैं।
CAA के बारे में:
- क्या है CAA: CAA 2019 में पारित एक कानून है जो पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश से 31 दिसंबर 2014 तक भारत आए हिंदू, सिख, बौद्ध, जैन, पारसी और ईसाई समुदाय के लोगों को नागरिकता प्रदान करता है।
- विवाद: CAA को लेकर देश में काफी विवाद हुआ था। विरोधियों का कहना था कि यह कानून मुस्लिमों के खिलाफ भेदभावपूर्ण है।
यह घोषणा भाजपा के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, क्योंकि यह पार्टी के 2024 के लोकसभा चुनाव अभियान को गति दे सकती है।
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