आगरा। जनपद में दिव्यांगों को सीएसआर फंड के तहत एलिम्को कंपनी द्वारा आगरा स्थित ककुआ पर स्थापित आसरा सर्विस सेंटर के तहत उपकरणों का वितरण किया जाता है। सेंटर पर दिव्यांगों की आड़ में हो रहे घोटाले का पर्दाफाश बीते दिनों अग्र भारत द्वारा किया गया था।
दिव्यांगों के उपकरणों में एक बड़े घोटाले की आ रही बू
आपको बता दें कि दिव्यांग संगठन के बौबी गोला की शिकायत पर इस घोटाले का भांडा फूटा था। बौबी गोला द्वारा लिखित रूप से दी गई शिकायत में बताया गया था कि दिव्यांग प्रकोष्ठ भाजपा का कथित जिला संयोजक देवेंद्र सविता इस पूरे खेल का मास्टरमाइंड था। देवेंद्र सविता ने आसरा सेंटर संचालक के तहत कागजों में हेराफेरी करते हुए एक ही दिव्यांग को नियम विरूद्ध तरीके से उपकरणों का वितरण कर दिया। पोर्टल पर दर्ज आंकड़ों को जब प्रस्तुत किया गया तो आनन फानन में पोर्टल से रिकार्ड को हटाया जाने लगा।
दिव्यांग विभाग के अधिकारियों की भूमिका पर संदेह
इधर देवेंद्र सविता ने लगभग दो दर्जन ट्राइसाइकिल को दिव्यांगों से उठाकर अपने पास जमा करवा लिया। सूत्रों के अनुसार देवेंद्र सविता द्वारा इन ट्राइसाइकिल को खुर्द बुर्द करने के प्रयास शुरू हो गए हैं। देवेंद्र सविता से इस बाबत बात करने पर वह बगलें झांकने लगता है। जनपद में दिव्यांगों के उद्धार का जिम्मा संभालने वाले विभागीय अधिकारी भी इस घोटाले से बेफिक्र नजर आते हैं। जबकि भाजपा जिलाध्यक्ष गिर्राज सिंह कुशवाह ने इस घोटाले में अधिकारियों और भी मिलीभगत का गंभीर आरोप लगाया था।
एलिमको के अधिकारियों का देवेंद्र सविता पर रहा वरदहस्त
बताया जाता है कि दिव्यांगों को उपकरण वितरित करने हेतु एलिमको कंपनी के अधिकारी असिस्मेंट करने आते थे। उन्हीं पर जांच पड़ताल का जिम्मा होता था। इसके बावजूद घोटाला होता रहा, अधिकारी अपनी आंखें मूंदे रहे।