श्रीमद्भागवत कथा में गोवर्धन पूजा का प्रसंग, 56 भोग अर्पित किए गए

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आगरा। सरेधी गणेश महोत्सव के अवसर पर आयोजित सातदिवसीय श्रीमद्भागवत कथा में कथा व्यास महेश शास्त्री आचार्य ने श्रीकृष्ण की बाल लीलाओं और गोवर्धन पूजा के प्रसंग को विस्तार से सुनाया। मुख्य यजमान राधेश्याम परमार और सीमा देवी ने कथा के दौरान दीप प्रज्जवलित किया।

इस कथा में गोवर्धन पर्वत की कृत्रिम आकृति झांकी के माध्यम से दर्शाई गई, और भगवान श्रीकृष्ण को 56 भोग अर्पित किए गए। प्रवचन के दौरान महेश आचार्य जी ने बताया कि श्री कृष्ण ने द्वापर युग में पृथ्वी पर धर्म और सत्य की पुनः स्थापना के लिए अवतार लिया।

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उन्होंने बाल अवस्था में कालिया नाग का संहार करके यमुना जी को पवित्र किया, पूतना और बकासुर जैसी मायावी शक्तियों का अंत किया, और ब्रजभूमि में कंस मामा का वध करके अपने माता-पिता देवकी और वासुदेव तथा नाना उग्रसेन महाराज को कारागार से मुक्त कराया। कथा के दौरान गायकों द्वारा भजनों की प्रस्तुति से श्रद्धालु झूम उठे, और समस्त ग्रामवासी इस पावन अवसर पर मौजूद रहे।

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Editor in Chief of Agra Bharat Hindi Dainik Newspaper
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