झांसी, उत्तर प्रदेश, सुल्तान आब्दी: झांसी में जिला सरकारी वकील (DGC) क्राइम, मृदुल कांत श्रीवास्तव द्वारा अपनी सोशल मीडिया आईडी पर की गई एक पोस्ट से पूरे जिले में हड़कंप मच गया है। 27 जुलाई, 2025 को की गई इस पोस्ट में उन्होंने अपनी और अपने परिवार की हत्या की आशंका जाहिर करते हुए सनसनीखेज आरोप लगाए हैं।
डीजीसी क्राइम की वायरल पोस्ट
डीजीसी क्राइम मृदुल कांत श्रीवास्तव ने अपनी पोस्ट में लिखा है कि वह निष्पक्ष रूप से मुकदमों की पैरवी करते हैं, लेकिन कुछ लोग उन पर दबाव डालकर गलत काम कराने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने साफ तौर पर कहा है कि “अगर उनकी या उनके परिवार की हत्या होती है, तो उन्होंने एक डायरी में पूरे घटनाक्रम का उल्लेख कर दिया है।”
यह पोस्ट तेजी से वायरल हो रही है, जिससे न्यायपालिका और पुलिस प्रशासन में हड़कंप का माहौल है।
वरिष्ठ अधिवक्ता ने लगाया छवि खराब करने का आरोप
इस मामले में वरिष्ठ अधिवक्ता संतोष कुमार दोहरे ने डीजीसी क्राइम की पोस्ट पर कड़ी आपत्ति जताई है। उन्होंने कहा कि यह सब वीआईपी कल्चर के कारण किया जा रहा है और मृदुल कांत श्रीवास्तव केवल गनर हासिल करना चाहते हैं। दोहरे ने आरोप लगाया कि उन्होंने पहले भी अपने आवास और गाड़ियों पर कई तरह के वीआईपी चिन्ह लगा रखे हैं।
संतोष दोहरे ने यह भी कहा कि डीजीसी क्राइम जानबूझकर प्रदेश सरकार की छवि खराब कर रहे हैं। उन्होंने इस मामले में एसएसपी और डीआईजी को एक पत्र लिखकर उचित कार्रवाई की मांग की है। उनका कहना है कि इतने जिम्मेदार पद पर रहते हुए इस तरह का बयान जारी करना शर्मनाक है। उन्होंने पुलिस प्रशासन से इस मामले की गंभीरता से जांच करने और दोषी पाए जाने पर एफआईआर दर्ज करने की अपील की है।
यह मामला अब पुलिस और न्यायपालिका दोनों के लिए एक बड़ी चुनौती बन गया है।