किरावली में विवादित मैडिकल स्टोर पर ड्रग विभाग की औचक छापेमारी

Jagannath Prasad
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ड्रग विभाग ने मैडिकल स्टोर के संचालन पर लगाई रोक

मौके पर नहीं मिला फार्मासिस्ट

किरावली। गर्भपात किट की अवैध बिक्री का सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल होने के आठ दिन बाद ड्रग विभाग द्वारा मंगलवार को प्रभावी कार्रवाई को अंजाम दिया गया। उच्चाधिकारियों के दिशा निर्देशन में ड्रग इंस्पेक्टर नवनीत यादव के साथ विभागीय अमले ने किरावली के श्रीराम मेडिकल स्टोर पर औचक छापेमारी की कार्रवाई को अंजाम दिया।
बताया जाता है कि वीडियो वायरल होने के बाद शुरूआती टालमटोल के बाद आखिरकार विभाग कार्रवाई के लिए विवश हो गया। जैसे ही श्रीराम मैडिकल स्टोर पर टीम पहुंची, कस्बे में खलबली मच गई। आनन फानन में अन्य मैडिकल स्टोर के धड़ाधड़ शटर गिर गए।

श्रीराम मैडिकल स्टोर पर पहुंचते ही टीम ने समस्त रिकार्ड को खंगालना शुरू कर दिया। मौके पर फार्मासिस्ट नदारद मिला, जबकि बिना फार्मासिस्ट के संचालन नियम विरूद्ध होता है। इसके बाद संचालक से गर्भपात किट की बिक्री के अभिलेख मांगे गए, लेकिन वह अभिलेख नहीं दिखा सका। उसकी दुकान से दो दवाइयों के नमूने भी लिए गए। इसके बाद विभागीय टीम ने तत्काल प्रभाव से मैडिकल स्टोर पर दवाइयां क्रय विक्रय पर रोक अगले आदेश तक लगा दी है । रोक की अवधि में संचालक को दुकान नहीं खोलने की हिदायत दी।

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देखना होगा कि औषधि विभाग क्या वाकई मेडिकल स्टोर संचालक के खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगा या फिर विभाग इस मामले में भी नोटिस नोटिस का खेल, खेल कर मामले को दफन कर देगा। फिलहाल औषधि विभाग मेडिकल स्टोरों के खिलाफ नोटिस देता तो नजर आता है। लेकिन नोटिस के बाद क्या गठबंधन होता है। यह किसी को नहीं पता । इसी गठबंधन के चलते आज शहर से लेकर देहात तक बिना फार्मासिस्ट के मेडिकल स्टोर से मरीज को दवाइयां दी जा रही है।जिसके लिए सीधे-सीधे औषधि विभाग जिम्मेदार है।

बड़ी कार्रवाई हो सकती है संभव

गर्भपात किट की बिक्री का वीडियो वायरल होने के बाद मंगलवार को हुई छापेमारी में दो मुख्य बातें सामने आई हैं। दुकान से फार्मासिस्ट नदारद मिलना और गर्भपात किट की बिक्री के अभिलेख नहीं दिखा पाना। दोनों ही कारणों का संतोषजनक जवाब नहीं मिलने पर विभाग द्वारा कड़ी कार्रवाई संभव है।

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संबंधित ड्रग इंस्पेक्टर को जांच हेतु भेजा गया था। जिन बिंदुओं पर कमियां मिली हैं, इनका संज्ञान लेकर आवश्यक कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
अतुल उपाध्याय-एडीसी ड्रग

औषधि निरीक्षक नहीं उठाते फोन

जनपद में दो औषधि निरीक्षक हैं, जो आए दिन कार्यालय से गायब रहते हैं दावा यह करते हैं कि मेडिकल स्टोर एवं दवाइयां की फैक्ट्री में जांच की जा रही है लेकिन एक औषधि निरीक्षक नवनीत यादव ऐसे अधिकारी है जो फरियादियों का फोन ही नहीं उठाते हैं। वैसे यदि उनकी कार्यवाहियों की संख्या देखी जाए तो सिर्फ नोटिस ही नोटिस दिखाई देंगे, उसके बाद क्या हुआ यह किसी को नहीं पता।

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