आगरा: बाहरी इलाकों में हो रही लगातार बारिश के कारण आगरा में यमुना नदी ने रौद्र रूप धारण कर लिया है। नदी का जलस्तर चेतावनी स्तर 495 फीट को पार कर गया है, जिससे शहर की कॉलोनियों और गांवों में पानी घुसना शुरू हो गया है। यमुना में बढ़ते जलस्तर से घाट, मंदिर और श्मशान घाट जलमग्न हो गए हैं। प्रशासन ने लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है।
ताजमहल के पास तक पहुंचा पानी, CISF चौकी हटाई
यमुना का पानी ताजमहल की दीवार तक पहुंच गया है, जिसके कारण सुरक्षा कारणों से सीआईएसएफ की चौकी को हटाना पड़ा है। एत्मादुद्दौला के जौहरी बाग स्थित श्मशान घाट के अंत्येष्टि स्थल भी पूरी तरह से पानी में डूब गए हैं।
गोकुल बैराज से लगातार बढ़ रहा पानी का बहाव
यमुना में बाढ़ का मुख्य कारण हथिनी कुंड और ओखला बैराज से छोड़ा गया पानी है। 17 अगस्त को हथिनी कुंड से 1.78 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया था, और 19 अगस्त को ओखला बैराज से भी 91,212 क्यूसेक पानी नदी में छोड़ा गया। इसके बाद, मथुरा में नदी खतरे के निशान को पार कर गई।
गोकुल बैराज से भी लगातार पानी छोड़ा जा रहा है। मंगलवार दोपहर से 11 घंटे तक 87,079 क्यूसेक पानी प्रतिघंटे छोड़ा गया। बुधवार को यह बहाव बढ़ाकर 90,483 क्यूसेक प्रतिघंटे कर दिया गया है। जिला प्रशासन ने शुक्रवार तक जलस्तर खतरे के निशान के करीब पहुंचने की आशंका जताई है।
श्मशान घाट में अंत्येष्टि कार्य बाधित
यमुना नदी का पानी ताजगंज श्मशान घाट में घुस गया है, जिससे नीचे के 12 अंत्येष्टि स्थल डूब गए हैं। चिमनी तक पानी आने से बुधवार को आए 17 पार्थिव शरीरों का अंतिम संस्कार ऊपर के स्थलों पर करना पड़ा। श्मशान घाट के कर्मचारियों का कहना है कि जलस्तर बढ़ने से काफी परेशानी हो रही है।