वृंदावन, मथुरा, उत्तर प्रदेश। धार्मिक आस्था का केंद्र और कृष्ण भक्ति की पावन धरती वृंदावन में 24 मई से 1 जून के बीच हुई चोरी की वारदातों ने कानून-व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए थे। इन वारदातों में श्रद्धालुओं के गहने चुराकर चोर फरार हो गए थे। हालांकि, अब पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए एक ही दिन में 10 महिला चोरों को गिरफ्तार कर लिया है। इन शातिर महिला चोरों के पास से चोरी के पर्स, तीन मोबाइल फोन और ₹18,652 नकद बरामद हुए हैं।
मंदिरों में भीड़ का फायदा उठाती थीं ये शातिर चोरनियां
बताया जा रहा है कि ये शातिर महिला चोर मंदिरों में भीड़ का फायदा उठाकर श्रद्धालुओं को अपना शिकार बनाती थीं। ये महिला चोर लंबे समय से वृंदावन के मंदिरों में सक्रिय थीं। पुलिस ने मुखबिर की सटीक सूचना पर कार्रवाई करते हुए वृंदावन स्टेशन के पास से सात और परिक्रमा मार्ग स्थित जुगलघाट के पास से तीन अन्य महिला चोरों को गिरफ्तार किया है।
प्रमुख मंदिरों में हुईं तीन बड़ी वारदातें
पुलिस रिकॉर्ड के मुताबिक, 24 मई से 1 जून के इन कुछ ही दिनों में वृंदावन में तीन बड़ी चोरी की वारदातें हुईं। अज्ञात चोर लाखों के गहनों समेत वारदात को अंजाम देकर फरार हो गए थे। हैरत की बात यह है कि ये वारदातें शहर के प्रमुख बांके बिहारी मंदिर और राधारमण मंदिर के अंदर हुईं, जहाँ हर समय कड़ी सुरक्षा व्यवस्था रहती है।
- 24 मई को बांके बिहारी मंदिर में पहली घटना: मुनीश कुमार नामक एक श्रद्धालु बांके बिहारी जी के दर्शन करने आए थे। अज्ञात चोर उनकी 15 ग्राम सोने की चेन छीनकर फरार हो गया। इस वारदात का मुकदमा 3 जून को दर्ज किया गया।
- 31 मई को बांके बिहारी मंदिर में दूसरी वारदात: आंध्र प्रदेश निवासी मल्लिका परमेश्वरी जब बांके बिहारी मंदिर में दर्शन कर रही थीं, तभी चार महिलाओं के संगठित गिरोह ने उनके गले से पांच तोले की सोने की जंजीर और मंगलसूत्र चुरा लिया। इस घटना की प्राथमिकी 1 जून को दर्ज कराई गई और मामले की जाँच बांके बिहारी पुलिस चौकी इंचार्ज शिव कुमार शर्मा को सौंपी गई।
- 1 जून को राधारमण मंदिर में तीसरी वारदात: मध्य प्रदेश की एक महिला एडीजे (अतिरिक्त जिला न्यायाधीश) अपने परिजनों के साथ राधारमण मंदिर दर्शन के लिए पहुँचीं, लेकिन उनकी श्रद्धा को चोरों ने आघात पहुँचाया। उनका दो तोले का मंगलसूत्र पल भर में ही गायब हो गया। इस वारदात की रिपोर्ट 5 जून को दर्ज कर मामले की जाँच एसआई शुभांशु यादव को सौंप दी गई।
पुलिस पर दबाव और त्वरित कार्रवाई
जब इस तरह की खबरें प्रकाशित हुईं कि “क्या वृंदावन अब श्रद्धा का नहीं, बल्कि चोरों की सुरक्षित पनाहगाह बनता जा रहा है?”, तब पुलिस हरकत में आई। इसके बाद पुलिस ने ताबड़तोड़ कार्रवाई करते हुए इन 10 महिला चोरों को गिरफ्तार कर लिया, जिससे श्रद्धालुओं ने राहत की सांस ली है। यह गिरफ्तारी वृंदावन में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर उठे सवालों के बीच पुलिस के लिए एक बड़ी सफलता मानी जा रही है।