Advertisement

Advertisements

ईंट भट्टे की जमीन को लेकर सादाबाद में हो सकता है देवरिया जैसा कांड!

MD Khan
7 Min Read
  • 2008 में बेची थी चार भाईयों ने मिलकर 15 बीघा जमीन

  • जमीन पर एक भाई का था मै. विजय ईंट का उद्योग का लाईसेंस

  • खरीद्दार बिना लाइसेंस के चला रहा है कई वषों से ईंट भट्टा

हाथरस के सादाबाद में ईंट भट्टे की जमीन को लेकर एक किसान की 15 साल से लड़ाई चल रही है। किसान का आरोप है कि उसने 2008 में जमीन बेची थी, लेकिन खरीदार ने जमीन के साथ धोखाधड़ी से ईंट भट्टे का लाइसेंस भी अपने नाम करवा लिया। जबकि नियम यह है कि ईंट भट्टे का लाइसेंस न खरीदा जा सकता है और न ही लाइसेंस धारक उसे बेच सकता है।

आगरा। प्रदेश के हर जिले में एक मामला देवरिया कांड जैसे कगार पर है। पुलिस-प्रशासन आज भी रुपये-पैसे वालों के यहां गिरवी रखा हुआ है। पीड़ित प्रशासन के हर दर पर सलामी देता है, लेकिन प्रशासन अंबेडकरवादी संविधान को न मानकर गांधी जी वाले फोटो के नोट को सलाम ठोंकते हैं। देवरियाकांड हो, फिरोजाबाद में ट्रैक्टर चढ़ाने का मामला या कानपुर में जमीन को लेकर दो भाइयों की हत्या का, पुलिस-प्रशासन इनसे सीख नहीं ले रहा है। ऐसा ही एक मामला पिछले 15 वषों से जिला हाथरस के सादाबाद में चला आ रहा है। दबंग ने जमीन खरीदने के साथ धोखाधड़ी से र्इंट भट्टे का लाइसेंस भी अपने नाम करवा लिया। जबकि नियम यह कहता है कि र्इंट भट्टे का लाइसेंस न खरीदा जा सकता और न ही लाइसेंस धारक उसे बेच सकता है। दबंग ने जमीन बैनामा के दिन कातिब को साथ लेकर धोखाधड़ी की थी। पीड़ित किसान 15 साल से एसडीएम से लेकर मुख्यमंत्री तक कई बार शिकायत कर चुका है, लेकिन उसे आजतक न्याय नहीं मिला है। पूरा मामला समझने के लिए पढ़िये अग्र भारत की रिपोर्ट…

See also  नारी शक्ति उत्सव का हुआ आयोजन

घर के विवाद में बेचनी पड़ी जमीन

थाना सिकंदरा के पुष्पाजंलि बिहार निवासी महाराज सिंह मूलरूप से सादाबाद के मुरसान रोड प्रकाश नगर के रहने वाले हैं। उन्होंने बताया कि वह चार भाई हैं। वह सभी से छोटे हैं। परिवार में करीब 53 बीघा पैतृक जमीन थी। 15 बीघा जमीन पर वह अकेले मै. विजय र्इंट उद्योग फर्म नाम से भट्टा चलाते थे। जमीन का बंटवारे के लेकर चारों भाईयों में अनबन हो गई। भट्टे वाले 15 बीघा जमीन वर्ष 2008 में सादाबाद के एक गांव निवासी एक सजातीय व्यक्ति से सौदा हुआ था। हालांकि उस व्यक्ति ने उस दौरान अपना एड्रेस आगरा के कमला नगर का दिखाया था। 21 नवंबर 2008 को सादाबाद तहसील में चारों भाईयों ने जमीन का बैनामा दबंग व्यक्ति की पत्नी के नाम पर कर दिया। कुछ दिन सबकुछ ठीक रहा, लेकिन दबंग व्यक्ति ने जमीन पर पूर्व में चल रहे बंद भट्टे का संचालिन करना शुरू कर दिया। जबकि भट्टे का लाइसेंस महाराज सिंह के नाम था।

See also  Mainpuri News: लड़की ले जाने वाले अभियुक्त को पुलिस ने किया गिरफ्तार, भेजा जेल

100 रुपये के स्टांप पर करा लिये थे हस्ताक्षर

महाराज सिंह ने जमीन खरीदने वाले से भट्टा किस हैसियत से चला रहे हो, उसने बताया कि जमीन के साथ तुमने लाइसेंस भी तो हमे पांच लाख रुपये में बेच दिया था। 100 रुपये का स्टांप पेपर दिखाया। जिसपर चारों भाइयों ने के फोटो और हस्ताक्षर हो रहे थे। आरोप है कि वह 100 रुपये के कोरे स्टांप पेपर पर दाखिला खारिज करवाने के लिए हस्ताक्षर, यह कहकर करवाये थे कि चारों भाई अलग रहते हैं। वह सभी को कहां-कहां तलाश करेगा। उसी स्टांप का दु्रपयोग करके लाइसेंस को फर्जी तरीके से अपने नाम दृश्या लिया है। महाराज सिंह ने बताया कि लाइसेंस सिर्फ अकेले उनके नाम है। उनके तीन भाईयों के स्टांप पर फोटो और हस्ताक्षर क्यों हैं। उनका भट्टे से कोई लेना-देना नहीं है। इस पर दबंग ने पीड़ित महाराज सिंह को धमकी देकर भगा दिया।

नियम है कि ट्रांसफर नहीं होते ईंट भट्टे लाइसेंस

महाराज सिंह अपनी शिकायत लेकर तहसील गये। बैनामा लेखक से मिले। वह स्टांप पेपर को नोटराइज करने वाले अधिवक्ता से मिले। उन्होंने पूरी जांच करवाई। जो कि फर्जी निकली। बैनामा लेखक ने लिखकर दिया कि वह लिखापढ़ी उसने नहीं की है। लेखपाल से लेकर जिलाधिकारी तक शिकायत की गई, लेकिन कोई हल नहीं निकला। जिला पंचायत विभाग को आरटीआई डाली। वहां से जबाव मिला कि र्इंट भट्टे का लाइसेंस जिसके नाम होता है। वहीं संचालिक कर सकता है। लाइसेंस को किसी के नाम ट्रांसफर नहीं किया जा सकता और न खरीदा और बेचा जा सकता है।

See also  आगरा में एक माह बाद भी एआरपी की चयन सूची नहीं हुई जारी; परिषदीय विद्यालयों में शैक्षणिक गुणवत्ता सुधारने के प्रयासों पर लग रहा पलीता

डर की वजह से आगरा में रहता है पीड़ित का परिवार

महाराज सिंह का आरोप है कि हाथरस में दबंग परिवार की तूती बोलती है। मौजूदा दौर में फर्जी तरीके से वह चार भट्टे संचालिक कर रहा है। पुलिस-प्रशासन में ऊंची पकड़ है। पीड़ितों शिकायत पर आजतक कोई सुनवाई नहीं हुई है। कई बार मुकदमा दर्ज करने के लिए डीएम, एसपी को प्रार्थनापत्र दिये। आरोप है कि दबंग ने धमकाया कि लाइसेंस को भूल जा, वर्ना परिवार से भी हाथ धो बैठेगा। उसके बाद से पीड़ित ने गांव ही नहीं जिला ही छोड़ दिया। वह आगरा में रहकर अपनी कानूनी लड़ाई लड़ रहे हैं। वह कहते हैं कि मरते दम तक अपनी लड़ाई जारी रखूंगा। इसके लिए क्यों न मुझे अपनी जान देनी पड़े। दबंगों के सामने झुकूंगा नहीं, वह कहते हैं कि गांव छोड़ था, वर्ना मेरे परिवार का हाल भी देवरिया कांड जैसा हो जाता। महाराज सिंह अपने लाइसेंस को पाने के लिए हर दरवाजे पर मत्थ टेक रहे हैं।

Advertisements

See also  Mainpuri News: लड़की ले जाने वाले अभियुक्त को पुलिस ने किया गिरफ्तार, भेजा जेल
Share This Article
Leave a Comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Advertisement