अमरावती: आंध्र प्रदेश में मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की सरकार में भारतीय जनता पार्टी की सहयोगी तेलुगु देशम पार्टी (TDP) के सांसद ने एक अनोखी योजना का ऐलान किया है। इस योजना के तहत, यदि राज्य के किसी परिवार को तीसरा बच्चा होता है, तो उसे गिफ्ट के तौर पर कुछ विशेष दिया जाएगा। सांसद कालिसेट्टी अप्पाला नायडू ने बताया कि अगर तीसरा बच्चा लड़की होती है, तो माता-पिता को ₹50,000 की धनराशि दी जाएगी। वहीं, अगर तीसरा बच्चा लड़का होता है, तो उन्हें गिफ्ट के रूप में गाय दी जाएगी।
यह ऐलान तेलुगु देशम पार्टी के सांसद कालिसेट्टी अप्पाला नायडू ने अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान किया। उन्होंने कहा कि यह योजना आंध्र प्रदेश सरकार द्वारा राज्य की जनसंख्या को संतुलित करने और सामाजिक विकास की दिशा में एक कदम है। इसके साथ ही, यह योजना महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा देने की दिशा में भी अहम कदम है, क्योंकि इसमें लड़की के जन्म पर विशेष धनराशि दी जा रही है।
मंत्री ने बताया कि यह योजना राज्य में जनसंख्या वृद्धि को नियंत्रित करने के उद्देश्य से शुरू की गई है, साथ ही यह बच्चों के बीच लैंगिक समानता को भी बढ़ावा देती है। तीसरे बच्चे के मामले में गिफ्ट देने का विचार सांसद कालिसेट्टी के अनुसार, समाज में विभिन्न प्रकार के सकारात्मक बदलाव लाने के लिए है।
सांसद कालिसेट्टी ने क्या कहा?
कालिसेट्टी अप्पाला नायडू ने कार्यक्रम के दौरान कहा, “हम चाहते हैं कि लोग तीसरा बच्चा पैदा करने के लिए उत्साहित हों, और इस योजना के माध्यम से हम उन्हें प्रोत्साहित करना चाहते हैं। यदि तीसरा बच्चा लड़की है, तो यह समाज में लड़कियों की स्थिति को मजबूत करने के लिए एक कदम होगा। अगर लड़का होता है, तो गाय देने का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में कृषि कार्य को बढ़ावा देना है।”
मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की सराहना
इस योजना की घोषणा के बाद, मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की ओर से भी इसे सकारात्मक प्रतिक्रिया मिली है। उन्होंने इस योजना को एक सामाजिक पहल के रूप में सराहा और राज्य के विकास की दिशा में इसे एक महत्वपूर्ण कदम माना।
तीसरे बच्चे को लेकर तेलुगु देशम पार्टी का यह नया ऐलान राज्य में चर्चा का विषय बन गया है। जहां एक ओर यह योजना सामाजिक बदलाव और जनसंख्या नियंत्रण की दिशा में एक कदम है, वहीं दूसरी ओर इसने महिला सशक्तिकरण और लैंगिक समानता को भी बढ़ावा दिया है। अब देखना यह होगा कि इस योजना को राज्य के लोग किस प्रकार अपनाते हैं और इसके दूरगामी प्रभाव क्या होते हैं।