UP News: एंटी करप्शन टीम के खिलाफ लेखपालों का प्रदर्शन, जानिए क्यों घबराए हुए हैं लेखपाल

4 Min Read
UP News: एंटी करप्शन टीम के खिलाफ लेखपालों का प्रदर्शन, जानिए क्यों घबराए हुए हैं लेखपाल

मिर्ज़ापुर, उत्तर प्रदेश: मिर्ज़ापुर जिले के लालगंज तहसील में शनिवार को एक बड़े आंदोलन का आयोजन किया गया। इस दिन तहसील दिवस का बहिष्कार कर लेखपालों ने एंटी करप्शन टीम के खिलाफ जोरदार धरना-प्रदर्शन किया। लेखपालों का आरोप था कि एंटी करप्शन टीम फर्जी तरीके से उन्हें फंसा रही है, जबकि वे सिर्फ अपने काम को निष्ठा से कर रहे हैं। इस प्रदर्शन ने तहसील परिसर में सनसनी फैला दी और लेखपालों के इस विरोध के पीछे की वजहें खुलकर सामने आईं।

लेखपालों का आरोप: फर्जी ढंग से फंसाया जा रहा है

प्रदर्शन कर रहे लेखपालों का कहना था कि एंटी करप्शन टीम अपने “गुड वर्क” के चक्कर में लेखपालों को बेवजह फंसा रही है। उनका मानना है कि लेखपाल राजस्व विभाग का एक अहम हिस्सा होते हुए जनता के पास भूमि विवादों और सरकारी कार्यों को निपटाने के लिए जाते हैं। ऐसे में किसी एक पक्ष का असंतुष्ट होना स्वाभाविक है, लेकिन एंटी करप्शन टीम उनकी कार्यशैली को गलत तरीके से प्रस्तुत कर रही है और बिना कारण के उन्हें फंसा रही है।

क्या है लेखपालों की चिंता?

लेखपालों का कहना है कि क्षेत्र की राजनीति और कुछ असंतुष्ट व्यक्तियों द्वारा उनकी छवि खराब करने की साजिश की जा रही है। ओम प्रकाश उपाध्याय, मंडल अध्यक्ष, राजस्व विभाग ने कहा कि लेखपालों को अक्सर क्षेत्रीय राजनीति में घसीटने की कोशिश की जाती है। उनका आरोप था कि एंटी करप्शन टीम इन साजिशों का हिस्सा बनकर लेखपालों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है।

इसके अलावा, लेखपालों ने बताया कि सरकारी अवैध अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही में भी प्रभावित लोग उनसे दुश्मनी पाल लेते हैं। ऐसे में अगर कोई व्यक्ति असंतुष्ट होता है तो उसे शिकायत दर्ज कराने के लिए उकसाया जाता है, जिससे लेखपाल को झूठे आरोपों में फंसाया जाता है।

प्रत्येक शिकायत पर सवाल उठाना जरूरी

अनूप कुमार पांडेय, तहसील अध्यक्ष, लालगंज ने आरोप लगाया कि एंटी करप्शन टीम सामान्य शिकायतों के आधार पर बिना वास्तविक तथ्यों का परीक्षण किए, शिकायतकर्ताओं को उकसाकर शिकायती पत्र लिखवाती है। इसके बाद, बिना जांच किए उसी दिन या अगले दिन लेखपाल को गिरफ्तार कर लिया जाता है। इस प्रक्रिया को “प्री ट्रैप जांच” कहा जाता है, जो बिना पर्याप्त प्रमाण के लेखपालों को फंसा देती है।

लेखपालों का प्रदर्शन और मांग

धरने में शामिल लेखपालों ने स्पष्ट रूप से कहा कि वे चाहते हैं कि उनकी निष्कलंक कार्यशैली को समझा जाए और किसी भी तरह की साजिश का पर्दाफाश किया जाए। उनका कहना था कि अधिकांश मामलों में शिकायत पत्र में उल्लिखित कार्य लेखपाल से संबंधित नहीं होते हैं और न ही वे किसी प्रकार की रिश्वत की मांग करते हैं। इसके बावजूद, उन्हें फर्जी आरोपों में फंसा दिया जाता है।

पुलिस और प्रशासन पर दबाव

लेखपालों ने प्रशासन से इस मामले में तुरंत हस्तक्षेप करने की अपील की है ताकि उनकी कार्यशैली पर कोई अनावश्यक आरोप न लगे। उन्होंने मांग की है कि एंटी करप्शन टीम के खिलाफ एक निष्पक्ष जांच की जाए, ताकि ऐसे झूठे मामलों का समाधान हो सके और लेखपालों को उनके काम में सहजता और सुरक्षा मिल सके।

निष्कर्ष

मिर्ज़ापुर में लेखपालों का यह प्रदर्शन इस बात का संकेत है कि जिले में राजस्व विभाग के कर्मचारियों के

Share This Article
Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Exit mobile version