विश्वविद्यालय में बेकाबू होते हालात, 8 दिन में 6 प्रदर्शन, चीफ प्रोक्टर को हटाने की मांग
आगरा। डॉ. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय में हालात बेकाबू हैं। आए दिन छात्र संगठन आंदोलन और प्रदर्शन कर रहे हैं। गुरुवार को 3 छात्र संगठनों ने विश्वविद्यालय में विरोध प्रदर्शन किए। पुलिस के साथ भी छात्रों का टकराव हो गया। कई छात्रों को पुलिस ने अरेस्ट कर लिया। कुलपति का पुतला दहन करने का प्रयास किया गया। प्रदर्शनकारी विश्वविद्यालय के चीफ प्रोक्टर को हटाने की मांग कर रहे हैं। छात्र नेताओं का आरोप है कि विश्वविद्यालय के अधिकारी एक खास संगठन की पैरवी कर रहे हैं। बिगड़ते हालात इस कदर भयावह हो रहे हैं कि 8 दिनों के भीतर 5 दिन आंदोलन और हंगामे के भेट चढ़ गए। कर्मचारियों में खौफ भर आया है। वे अपनी सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं।
बात 24 जनवरी की है। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रशांत यादव का विश्वविद्यालय के कर्मचारी आशीष कुमार से विवाद हो गया था। इसके बाद एबीवीपी के कार्यकर्ताओं ने 6 कर्मचारियों और 15 से 20 अज्ञात के खिलाफ केस दर्ज करा दिया। इसके बाद एबीवीपी 3 बार प्रदर्शन कर चुका है। इसके साथ ही एनएसयूआई और समाजवादी छात्रसभा भी लगातार प्रदर्शन कर रहा है। गुरूवार को भी तीनों छात्र संगठनों ने विरोध जताया और इस दौरान पुलिस ने एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं को अरेस्ट कर लिया। प्रदर्शन कर रहे एनएसयूआई कार्यकर्ताओं ने विश्वविद्यालय के चीफ प्रोक्टर डॉ. मनु प्रताप पर गंभीर आरोप लगाए हैं। साथ ही उन्हें हटाने की मांग की है।
चीफ प्रोक्टर पर लगाए गंभीर आरोप
विश्वविद्यालय छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष और एनएसयूआई के गौरव शर्मा ने कहा है कि एबीवीपी के कार्यकर्ता विश्वविद्यालय में खुली गुंडई कर रहे हैं। उन्हें रोका नहीं जाता है। क्योकि विश्वविद्यालय के चीफ प्रोक्टर मनु प्रताप सिंह खुद अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के पदाधिकारी हैं। इस लिए वे उनका पक्ष लेते हैं। हैरत इस बात की है कि कुलपति सब कुछ जानने के बाद भी कोई एक्शन नहीं लेती हैं। कर्मचारियों को एबीवीपी के कार्यकर्ताओं ने विश्वविद्यालय में पीटा था, लेकिन कर्मचारियों के खिलाफ ही कार्रवाई हो गई।
पुलिस ने हुई तीखी झड़प
एनएसयूआई और सछास के कार्यकर्ताओं गुरुवार को विश्वविद्यालय के पालीवार परिसर में जोरदार प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारी कुलपति का पुतला लेकर उसे दहन करने का प्रयास कर रहे थे। इसी बीच पुलिस ने पहुंच गई और उन्हें अरेस्ट कर लिया। प्रदर्शनकारी छात्रों की पुलिस ने जमकर भिड़ंत हुई। कुलपति प्रो. आशु रानी की कार के सामने लेटकर उस पर चढकऱ छात्रों ने अपना गुस्सा प्रकट किया।