घटना का विवरण
रविवार को सिकरीगंज क्षेत्र के कनहौली गांव में बुलेट से कंबाइन का बेयरिंग लेने जा रहे श्रवण यादव और उनके पट्टीदार राजन के बीच बाइक को लेकर कहासुनी हो गई। इसके बाद दोनों पक्षों के लोग मौके पर इकट्ठा हो गए और विवाद बढ़ने लगा। स्थिति को देखते हुए श्रवण यादव ने 112 नंबर पर सूचना दी, जिसके बाद पीआरवी के सिपाही मौके पर पहुंचे और मामला शांत कराया। हालांकि, देर शाम दोनों पक्षों के बीच पुनः मारपीट और पथराव की घटना हुई, जिसमें कई लोग घायल हो गए।
इसी बीच, जब दुघरा चौकी प्रभारी राकेश कुमार और सिपाही विनीत कुमार घटनास्थल पर पहुंचे, तो आरोप है कि श्रवण यादव के पक्ष के लोगों ने दोनों पुलिसकर्मियों को बंधक बना लिया और उन्हें बुरी तरह पीट दिया। सिपाही विनीत कुमार किसी तरह मौके से भागने में सफल रहे, जबकि चौकी प्रभारी राकेश कुमार को सिर में गंभीर चोटें आईं। बाद में सिकरीगंज थाना प्रभारी की अगुवाई में पुलिस फोर्स ने राकेश कुमार को अस्पताल पहुंचाया।
मुकदमा और पुलिस की कार्रवाई

घटना के बाद पुलिस ने 15 नामजद और 20 अज्ञात लोगों के खिलाफ हत्या की कोशिश, सरकारी कार्य में बाधा डालने, मारपीट और बंधक बनाने के आरोप में मुकदमा दर्ज किया। पुलिस ने इस मामले में श्रवण यादव समेत कुछ अन्य लोगों को हिरासत में लिया है। एसपी दक्षिणी जितेंद्र कुमार के अनुसार, पुलिस की चार टीमें आरोपी आरोपियों की तलाश में छापेमारी कर रही हैं और दो आरोपियों को हिरासत में लिया गया है।
गांव में पुलिस तैनात

वहीं, गांव में स्थिति को देखते हुए भारी पुलिस बल तैनात किया गया है, ताकि आगे कोई हिंसक घटनाएं न हो सकें। पुलिस ने यह भी पुष्टि की है कि आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी और किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा।
समाज में बढ़ते विवादों पर सवाल
इस घटनाक्रम ने गोरखपुर जिले में कानून-व्यवस्था को लेकर सवाल खड़े कर दिए हैं। जहां एक ओर पुलिस को अपराधियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई करनी चाहिए, वहीं दूसरी ओर इस घटना से यह भी स्पष्ट होता है कि विवादों के बढ़ते प्रभाव को रोकने के लिए प्रभावी पुलिसिंग की आवश्यकता है। समाज में इस तरह की घटनाओं को बढ़ावा देने वालों के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की आवश्यकता है।
गोरखपुर के दुघरा चौकी प्रभारी और उनके साथी सिपाही पर हुए हमले ने यह साबित कर दिया कि पुलिसकर्मियों के खिलाफ हिंसा का माहौल बन रहा है। इस घटना की गहन जांच की आवश्यकता है और सभी आरोपियों को सजा दिलाना जरूरी है ताकि ऐसे कृत्यों से समाज में भय का माहौल ना बने। पुलिस प्रशासन को अब इस पूरे मामले में सख्त कदम उठाने की जरूरत है ताकि कानून व्यवस्था को बनाए रखा जा सके।