स्कैमर्स की अब आएगी आफत, Jio, Airtel, Vi, BSNL सब इस देसी टेक्नोलॉजी से करेंगे स्पैम कॉल का इलाज

Gaurangini Chaudhary
Gaurangini Chaudhary - Content writer
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नई दिल्ली: भारत में स्पैम कॉल्स और धोखाधड़ी वाले मैसेजेज़ के बढ़ते मामलों ने आम लोगों के लिए चिंता का कारण बना दिया था। लेकिन अब स्कैमर्स की शामत आने वाली है। सरकार ने इन बढ़ते स्कैम्स से निपटने के लिए एक स्वदेशी स्पैम ब्लॉकिंग सॉल्यूशन तैयार किया है, जिसे भारत की प्रमुख टेलीकॉम कंपनियां जैसे Jio, Airtel, Vodafone Idea (Vi), और BSNL जल्द ही लागू करेंगी। इस तकनीक से यूजर्स को स्पैम कॉल्स और मैसेजेस से मुक्ति मिलेगी।

सरकार का बड़ा कदम- स्वदेशी स्पैम ब्लॉकिंग सॉल्यूशन

गृह मंत्रालय (MHA) ने टेलीकॉम सर्विस प्रोवाइडर्स (TSPs) को तीन महीने के ट्रायल के लिए इस स्वदेशी स्पैम ब्लॉकिंग सॉल्यूशन को लागू करने के निर्देश दिए हैं। यह ट्रायल फरवरी 2025 में होने वाली एक रिव्यू मीटिंग के दौरान किया जाएगा, जिसमें इसका फीडबैक लिया जाएगा। इस सॉल्यूशन को भारतीय टेलीकॉम कंपनियों के नेटवर्क पर काम करने के लिए तैयार किया गया है और इससे स्पैम कॉल्स, धोखाधड़ी वाली वॉयस और डेटा सर्विसेस पर काबू पाया जाएगा।

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टीसीआईएल- सरकार की स्वदेशी तकनीक का अहम हिस्सा

दिल्ली स्थित टेलीकम्युनिकेशंस कंसल्टेंट्स इंडिया लिमिटेड (TCIL) इस स्वदेशी स्पैम ब्लॉकिंग सॉल्यूशन का प्रमुख हिस्सा है। यह सरकारी स्वामित्व वाली कंपनी टेलीकॉम कंपनियों के लिए स्पैम मैसेजेज़ और कॉल्स को ब्लॉक करने के लिए एसएमएस ट्रांसपेरेंसी सॉल्यूशन तैयार कर रही है। TCIL ने टेलीकॉम कंपनियों को यह सॉल्यूशन बिना किसी खर्च के तीन महीने के ट्रायल के लिए उपलब्ध कराने की सहमति दी है।

ब्लॉकचेन और ए.आई. का इस्तेमाल

TCIL के अधिकारियों ने बताया कि यह स्पैम ब्लॉकिंग सॉल्यूशन ब्लॉकचेन और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करता है। इस सॉल्यूशन का उद्देश्य धोखाधड़ी वाले यूआरएल को ब्लॉक करना है और केवल वेरिफाइड मैसेज कंटेंट को ही यूजर्स तक पहुँचाना है। इसके माध्यम से, स्पैम कॉल्स और मैसेजेस को तुरंत पहचानकर रोका जाएगा, जिससे उपभोक्ताओं को झांसे में फंसने से बचाया जा सकेगा।

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पहले किया गया था POC परीक्षण

टीसीआईएल ने पहले एमटीएनएल नेटवर्क पर इस तकनीक का प्रूफ-ऑफ-कॉन्सेप्ट (POC) टेस्ट किया था। इस परीक्षण के दौरान लाइव टेलीकॉम इनवायरमेंट में स्पैम वॉयस और डेटा सर्विसेस के लिए सॉल्यूशन की टेस्टिंग की गई थी। अब इस सॉल्यूशन को बाकी प्रमुख टेलीकॉम कंपनियों के नेटवर्क पर भी लागू करने की योजना है।

एंटी स्पैम सॉल्यूशन का प्रभाव

भारत में टेलीकॉम कंपनियां पहले से ही थर्ड पार्टी लिंक्स को ब्लॉक करने और ब्लैकलिस्ट करने की कोशिश कर रही हैं। अगर यह नया एंटी स्पैम सॉल्यूशन सफल होता है, तो यह लाखों भारतीयों को स्पैम कॉल्स और मैसेजेस से बचाने में मदद करेगा। इससे न केवल व्यक्तिगत सुरक्षा बढ़ेगी, बल्कि डिजिटल धोखाधड़ी और स्कैम्स के मामलों में भी कमी आएगी।

यूजर्स के लिए फायदे

इस सॉल्यूशन के लागू होने से Jio, Airtel, Vodafone Idea (Vi), और BSNL के यूजर्स को बड़ी राहत मिलेगी। खासकर उन लोगों को, जो लगातार स्पैम कॉल्स और धोखाधड़ी वाले मैसेजेस का सामना कर रहे हैं। यह सॉल्यूशन उनके फोन पर आने वाली अनचाही कॉल्स और मैसेजेस को फिल्टर कर, केवल वैध और जरूरी कम्युनिकेशन्स को ही प्रदर्शित करेगा।

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सरकार का कदम सही दिशा में

स्पैम कॉल्स और धोखाधड़ी वाले मैसेजेस ने भारत में एक बड़ी समस्या बना ली थी। लेकिन सरकार का यह कदम एक सकारात्मक दिशा में है, जिससे न केवल लोगों को सुरक्षा मिलेगी, बल्कि भारत में डिजिटल धोखाधड़ी की घटनाओं में भी कमी आ सकती है। इस स्वदेशी तकनीक के माध्यम से, अब भारतीय टेलीकॉम कंपनियां और सरकार मिलकर इन समस्याओं का समाधान करने में सक्षम होंगी।

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