न्यूयॉर्क। अमेरिकी संस्थान नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के एक नए अध्ययन में बताया गया है कि पर्याप्त रूप से हाइड्रेटेड नहीं रहने वाले व्यस्कों में अच्छी तरह हाईड्रेटेड रहने वाले व्यस्कों के मुकाबले जल्दी बुढ़ापा आने और लंबी बीमारियों का जोखिम ज्यादा रहता है।एनआईएच की यह ताज़ा सोमवार को प्रकाशित हुई जो अमेरिका में 11000 से अधिक लोगों से 25 साल के दौरान एकत्र किए गए आंकड़ों पर आधारित है।
इस स्टडी में शामिल प्रतिभागियों की 45 से 66 वर्ष की उम्र में पहली जांच की गई फिर 70 से 90 साल की उम्र में फॉलोअप टेस्ट की गई।शोधकर्ताओं ने प्रतिभागियों के खून में सोडियम के स्तर को हाइड्रेशन के लिए प्रॉक्सी के रूप में देखा। दरअसल जो व्यक्ति जितना कम तरल पदार्थ का सेवन करता है कि उसके खून में उतनी ज्यादा सोडियम पाई जाती है। ऐसे में शोधकर्ताओं ने पाया कि जिनके खून में ज्यादा सोडियम थे वे निम्न सोडियम स्तर वाले वाले प्रतिभागियों के मुकाबले शारीरिक रूप से जल्दी बूढ़े हुए। इसके साथ ही उनमें हाई ब्लड प्रेशर कोलेस्ट्रॉल और ब्लड शूगर जैसी बढ़ती उम्र में होने वाली बीमारियां भी पाई गईं।
इस स्टडी में पाया गया कि जिन लोगों के खून में सोडियम का स्तर 142 मिलीमोल प्रति लीटर से अधिक था उनमें हार्ट फेल्यर स्ट्रोक फेफड़ों की बीमारी डायबिटीज़ और डेमेशिया (मतिभ्रंश) सहित कुछ लंबी बीमारियों के विकसित होने का खतरा बढ़ गया था। एनआईएच का कहना है कि उसके अध्ययन से यह तो पता है कि कम पानी पीने के क्या खतरे हो सकते हैं लेकिन यह स्टडी ‘यह साबित नहीं करती है कि ज्यादा पानी पीने से इन लंबी बीमारी को रोका जा सकेगा।
’डॉक्टर महिलाओं के लिए हर दिन कम से कम 2 लीटर और पुरुषों के लिए कम से 3 लीटर तरल पदार्थ के सेवन की सिफारिश करते हैं। हालांकि इसके साथ ही वे कहते हैं लोगों की गतिविधि और बाहर के वातावरण के आधार पर भी अलग-अलग जगह के लोगों के लिए पानी की जरूरतें अलग-अलग होती है।
जैसे गर्म और उमस भरे वातावरण में मेहनतकश व्यक्ति को ज्यादा पानी पीने की जरूरत होती है। वैसे हाइड्रेटेड रहने यानी सही मात्रा में पानी पीने से सेहत को होने वाले फायदों की बात करें तो यह जोड़ों के दर्द को दूर करने और शरीर के सामान्य तापमान को बनाए रखने में मदद कर सकता है। इसके अलावा कब्ज या गुर्दे की पथरी को भी रोक सकता है। वही अगर कोई व्यक्ति पर्याप्त मात्रा में पानी नहीं पी रहा है और इसके बजाय चीनी-मीठे पेय पदार्थों का सेवन करता है तो उसे पेशाब के रास्ते में संक्रमण और गुर्दे में पथरी का खतरा बढ़ जाता है।