अयोध्या: अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य मंदिर निर्माण के साथ-साथ रामलला की प्राण प्रतिष्ठा की पहली वर्षगांठ की तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं। यह महोत्सव 11 जनवरी से शुरू हो रहा है, और श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट और जिला प्रशासन ने इस अवसर पर भव्य कार्यक्रम की योजनाओं को अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है। इस अवसर पर रामलला को सोने-चांदी के तारों से बनी पीतांबरी पहनाई जाएगी, जिसे दिल्ली में बड़े धूमधाम से तैयार किया जा रहा है।
मुख्य कार्यक्रम: रामलला का अभिषेक और पीतांबरी धारण
11 जनवरी को रामलला के अभिषेक के साथ ही भव्य महोत्सव की शुरुआत होगी। सुबह 10 बजे से रामलला के पूजन और अभिषेक की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। इस दौरान रामलला को प्रतिष्ठा द्वादशी के प्रथम दिन सोने-चांदी के तारों से बनी पीतांबरी पहनाई जाएगी। इस विशेष पीतांबरी की बुनाई और कढ़ाई दिल्ली में की जा रही है और यह 10 जनवरी को अयोध्या पहुंच जाएगी, जहां 11 जनवरी को इसे रामलला को धारण कराया जाएगा।
रामलला का अभिषेक वही विधि-विधान से किया जाएगा, जैसे एक साल पहले प्राण प्रतिष्ठा के समय हुआ था। पंचामृत, सरयू जल और अन्य धार्मिक आस्थाओं से अभिषेक किया जाएगा, जिसके बाद ठीक 12:20 बजे रामलला की महाआरती होगी।
महोत्सव की तारीखें और कार्यक्रम
यह महोत्सव 11 से 13 जनवरी तक चलेगा, और हर दिन विशेष धार्मिक अनुष्ठान और सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। 11 जनवरी का दिन विशेष रूप से महत्वपूर्ण है, क्योंकि इस दिन रामलला के अभिषेक के साथ-साथ अन्य धार्मिक अनुष्ठान भी होंगे। इसके बाद तीन दिनों तक यज्ञशाला और मंडप में सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन होगा, जिसमें राम कथा प्रवचन, शास्त्रीय संगीत और नृत्य प्रदर्शन होंगे।
110 वीआईपी का स्वागत, आम लोगों को भी मिलेगा अवसर
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के अनुसार, इस महोत्सव में लगभग 110 वीआईपी अतिथि शामिल होंगे। इसके अलावा, अंगद टीला स्थल पर एक जर्मन हैंगर टेंट लगाया गया है, जिसमें 5,000 से अधिक लोगों की मेज़बानी की जा सकती है। आम लोग भी इस भव्य कार्यक्रम का हिस्सा बन सकेंगे। उन्हें यज्ञशाला और मंडप में हो रहे सांस्कृतिक कार्यक्रमों और राम कथा प्रवचन को देखने का मौका मिलेगा।
संतों और भक्तों के लिए निमंत्रण
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने बताया कि ट्रस्ट ने उन सभी संतों और भक्तों को निमंत्रण भेजा है, जो पिछले साल रामलला के अभिषेक समारोह में शामिल नहीं हो सके थे। इन भक्तों को तीन दिन के कार्यक्रमों में हिस्सा लेने की अनुमति दी जाएगी। इसके साथ ही, मंदिर ट्रस्ट ने यज्ञ स्थल की सजावट और अन्य उत्सव संबंधित तैयारियों को भी अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है।
आध्यात्मिक और सांस्कृतिक समागम
महोत्सव के दौरान मंदिर के प्रांगण में धार्मिक अनुष्ठान, आरतियां और सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। रामलला के प्रति श्रद्धा और भक्ति में रंगे भक्त इस अवसर का लाभ उठाकर कार्यक्रमों का हिस्सा बनेंगे और अयोध्या की पवित्र भूमि पर रामलला के दर्शन करेंगे।
रामलला की प्रतिष्ठा की पहली वर्षगांठ के इस भव्य महोत्सव के आयोजन से न केवल अयोध्या बल्कि सम्पूर्ण भारत में एक आध्यात्मिक उर्जा का संचार होगा। रामलला की पीतांबरी पहनने और अभिषेक के दौरान लाखों भक्तों का उत्साह चरम पर होगा। यह समारोह भारत की सांस्कृतिक धरोहर और धार्मिक विश्वासों की एक महत्वपूर्ण कड़ी के रूप में देखा जा रहा है।