आगरा।योगी सरकार महिला अपराधों पर जीरो टॉलरेंस की नीति का दावा करती है, लेकिन राजनीतिक दबाव के कारण पीड़िताओं को न्याय नहीं मिल पा रहा है। फतेहपुर सीकरी थाना क्षेत्र की एक पीड़िता बार-बार थाने के चक्कर काट रही है, लेकिन पुलिस की उदासीनता के चलते उसे न्याय नहीं मिल रहा।प्रकरण फतेहपुर सीकरी थाना क्षेत्र के एक गांव का है, जहां बीते दिनों खेत में कपास तोड़ते समय एक महिला पर गांव के ही एक दबंग ने बदनीयती से हमला किया। आरोपी ने पीड़िता के कपड़े फाड़ने का प्रयास किया, लेकिन महिला के शोर मचाने पर वह जान से मारने की धमकी देकर भाग निकला। घटना के बाद पीड़िता देर रात तक थाने में रही, लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। अगले दिन वह पुलिस कमिश्नर कार्यालय पहुंची, लेकिन कमिश्नर के न मिलने पर उसे वापस लौटना पड़ा।सूत्रों के अनुसार, पुलिस को पीड़िता के पुलिस कमिश्नर कार्यालय जाने की जानकारी मिल गई थी। इसके बाद पुलिस ने उसे थाने में बुलाकर कार्रवाई का आश्वासन दिया, लेकिन राजनीतिक दबाव के चलते कोई ठोस कदम नहीं उठाया
पीड़िता पर राजीनामे का दबाव
पीड़िता को न्याय दिलाने के बजाय, उसे थाने से एक जनप्रतिनिधि के होटल पर बुलाया गया, जहां उस पर राजीनामे का दबाव बनाया गया। इस दौरान आरोपी भी मौके पर मौजूद था। लेकिन पीड़िता ने साफ कहा कि उसे सिर्फ मुकदमा और उचित कार्रवाई ही स्वीकार है।
पुलिस की कार्यशैली पर उठ रहे सवाल
प्रदेश सरकार महिला अपराधों को लेकर गंभीर रहने का दावा करती है, लेकिन फतेहपुर सीकरी पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठ रहे हैं। पुलिस पर राजनीतिक दबाव के चलते पीड़िता के मामले को नजरअंदाज करने का आरोप है
राम बारात शोभायात्रा की ड्यूटी के कारण प्रकरण की जानकारी नहीं हो पाई। प्रकरण का संज्ञान लेकर आवश्यक कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
शेषमणि उपाध्याय, एसीपी अछनेरा