पानी की समस्या को लेकर फिर धरने पर बैठी महिलाएं, पार्षद और जलकल विभाग से जल्द समाधान की मांग

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पानी की समस्या को लेकर फिर धरने पर बैठी महिलाएं, पार्षद और जलकल विभाग से जल्द समाधान की मांग
आगरा: पानी की किल्लत से जूझते हुए वार्ड 13 की महिलाएं मंगलवार को धरने पर बैठ गईं और नारेबाजी करते हुए अपनी आवाज़ उठाई। महिलाएं इस समय के दौरान पानी की समस्या से परेशान हैं, जो पिछले 20 दिनों से हल नहीं हो पा रही है। क्षेत्रीय लोगों का आरोप है कि उन्हें पार्षद पति और जलकल विभाग से सिर्फ आश्वासन ही मिल रहे हैं, लेकिन कोई ठोस कदम नहीं उठाया जा रहा है।

महिलाओं का कहना है कि ठंड के मौसम में पानी की किल्लत ने उनके घरों में भारी समस्याएं खड़ी कर दी हैं। नलों में पानी न आने के कारण उन्हें मीलों दूर से पानी लाने की मजबूरी का सामना करना पड़ रहा है। क्षेत्रीय पार्षद पति शब्बीर अब्बास द्वारा हैंडपम्प और समर कनेक्शन लगाने का वादा किया गया था, लेकिन अब तक इस दिशा में कोई कार्यवाही नहीं की गई है।

इसी कारण महिलाओं ने मंगलवार को खाली बर्तन लेकर धरने पर बैठने का फैसला किया। महिलाएं सड़कों पर बैठ गईं और रस्सियां बांधकर आवागमन के रास्ते को बंद कर दिया। तख्तियों पर लिखा था, “पानी की समस्या, क्षेत्रीय पार्षद कर रहे गुमराह।” धरने के दौरान महिलाएं लगातार नारेबाजी कर रही थीं और उनकी मुख्य मांग पानी की समस्या का शीघ्र समाधान था।

पार्षद पति का बयान

वार्ड 13 से बसपा पार्टी की पार्षद इमराना अब्बास के पति शब्बीर अब्बास ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि पिछले 20 दिनों से पानी की आपूर्ति के लिए टैंकर भेजे जा रहे हैं, लेकिन आधे क्षेत्र में अभी भी पानी की समस्या बनी हुई है। उन्होंने बताया कि जलकल विभाग की पूरी टीम इस समस्या को हल करने में लगी है। उन्होंने कहा कि पुरानी पाइपलाइनों को बदलकर नई लाइनें डाली गई हैं और सभी बाले (गड्ढे) हटा दिए गए हैं। इसके अलावा, प्राइवेट टीम भी काम कर रही है और दो समर कनेक्शन जल्दी लगाए जाएंगे। उन्होंने यह भी कहा कि क्षेत्रीय जनता के साथ वे हमेशा खड़े हैं और हर संभव प्रयास जारी है ताकि इस समस्या का समाधान जल्दी से जल्दी हो सके।

जेई शर्मा का बयान

पानी की समस्या के समाधान के लिए जलकल विभाग के जूनियर इंजीनियर आशीष शर्मा ने भी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, “मैं स्वयं मौके पर जाकर स्थिति की निगरानी कर रहा हूं। पुरानी पाइपलाइनों को बदलकर नई लाइनें डलवाई गई हैं। रोजाना 7 से 8 पानी के टैंकर भेजे जा रहे हैं ताकि समस्या का कुछ हद तक समाधान हो सके। हालांकि, यदि पानी का प्रेशर अधिक छोड़ा जाता है तो पाइपलाइन फटने की संभावना रहती है, जिससे और समस्याएं हो सकती हैं। प्राइवेट टीम भी लगातार काम कर रही है और सड़क से खुदाई करके लीकेज चेक किए जा रहे हैं। जलकल विभाग जल्द ही पूरे क्षेत्र में पानी की आपूर्ति सुनिश्चित करेगा।”

समस्या का समाधान

पानी की किल्लत को लेकर जारी विरोध प्रदर्शन के बीच स्थानीय जनता और अधिकारियों के बीच इस समस्या को सुलझाने के लिए संवाद जारी है। हालांकि, महिलाओं का धरना इस बात का संकेत है कि वे किसी भी प्रकार के आश्वासन से संतुष्ट नहीं हैं और जल्द समाधान की उम्मीद कर रही हैं।

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